दुआ की किताब PDF Dua Ki Kitab in Hindi PDF DOWNLOAD दुआ की किताब हिंदी में Har Cheez ki Dua in Hindi PDF Download Masnoon Dua ki Kitab PDF
इस्लाम धर्म में खाने, पीने, उठने, बैठने से लेकर कही आने जाने, कपड़ा पहनने इत्यादि तक की दिया कुरान एंव हदीस की रौशनी में मिलती है ऐसे में हम आपके साथ लिए इस्लामिक दुआ की किताब पीडीऍफ़ प्रारूप में शेयर कर रहे है लेकिन किताब डाउनलोड करने से पहले किताब से विषय सूची की लिस्ट जो यहाँ लिखा जा रहा है उसे पढ़ना चाहे तो पढ़ सकते है – पूरी विषय सूची पढ़ने के दिए दुआ पीडीऍफ़ बुक इन हिंदी डाउनलोड करें
दुआ की किताब
इस्लामिक किताब (दुआ किताब) के कुछ अंश – विषय सूची
- नींद से जागने के बाद की दुआएँ
- कपड़ा पहनने की दुआ ।
- नया कपड़ा पहनने की दुआ ।
- नया कपड़ा पहनने वाले को क्या दुआ दी जाए
- कपड़ा उतारे तो क्या पढ़े ?
- शौचालय (बैत्ल-खला) में दाखिल होने की दुआ ।
- शौचालय (बैतुल-खला) से निकलने की दुआ ।
- वुजू शुरु करने से पहले की दुआ ।
- वुजू से फारिग होने के बाद की दुआ ।
- घर से निकलते समय की दुआ ।
- घर में दाखिल होते समय की दुआ ।
- मस्जिद की ओर जाने की दुआ ।
- मस्जिद से निकलने की दुआ ।
- अज़ान की दुआएँ ।
- मस्जिद में दाखिल होने की दुआ ।
- नमाज़ शुरू करने की दुआएँ ।
- रुकूअ की दुआएं
- रुकूअ से उठने की दुआएँ ।
- सजदे की दुआएँ ।
- दोनों सजदों के बीच बैठने की दुआएँ ।
- इत्यादि ……
नींद से जागने के बाद की दुआएँ
َالْحَمْدُ لِلَّهِ الَّذِئ أَحْيَانَا بَعْدَمَا أَمَاتَنَا وَإِلَيْهِ النُّشُورُ
सब तारीफें अल्लाह के लिए हैं जिस ने हमें मारने के बाद ज़िन्दा किया और उसी की तरफ उठकर जाना है।
(बुखारी फतहुल्बारी के साथ ११ / ११३, मुस्लिम ४/२०८३)
لاَ إِلَهَ إلا الله وَحْدَهُ لاَ شَريكَ لَهُ ، لَهُ الْمُلْكُ وَلَهُ الْحَمْدُ ، وَهُوَ عَلَى كُلِّ شَيْءٍ قَدِيْرٌ . سُبْحَانَ اللهِ ، وَالْحَمْدُ لِلَّهِ وَلَا إِلَهَ إِلَّا الله والله أَكْبَرُ ، وَلَا حَوْلَ وَلاَقُوَّةَ إِلا بِاللهِ الْعَلِيِّ الْعَظِيمِ ، رَبِّ اغْفِرْ لِي))
अल्लाह के सिवा कोई भी इबादत के लायक नहीं, वह अकेला है, उसका कोई शरीक नहीं, उसी के लिए बादशाही है और उसी के लिए सब तारीफ है और वह हर चीज़ पर कादिर है ।
अल्लाह पाक है और सब तारीफ अल्लाह के लिए है और अल्लाह के सिवा कोई सच्चा माबूद नहीं और अल्लाह सब से बड़ा है और बुलन्दी और अज्मत् वाले अल्लाह की मदद के बिना न किसी चीज़ से बचने की ताकत है और न कुछ करने की कुव्वत । ऐ मेरे रब मुझे बख्श दे ।
NOTE : जो आदमी रात को किसी भी समय जागे और जागने के बाद यह दुआ पढ़े तो उसे बख़्श दिया जाता है, फिर यदि कोई दुआ करे तो उस की दुआ क़बूल होती है, फिर यदि उठ खड़ा हो वुजू करे और नमाज़ पढ़े तो उस की नमाज़ कबूल होती है ।
बुखारी फत्हुल्बारी के साथ ३/३९, शब्द इब्ने माजा के हैं देखिए सहीह इब्ने माजा २/३३५)